शिवसहस्रनाम भाग-२ (मन्त्र ३५१ से ७०० तक)

❀ शिवसहस्रनामावलि ❀ भाग-२/ ३०१ से ७०० ३५१) ॐ विशाखाय नमः३५२) ॐ षष्टिभागाय नमः३५३) ॐ गवाम्पतये नमः३५४) ॐ वज्रहस्ताय नमः३५५) ॐ विष्कम्भिने नमः३५६) ॐ चमूस्तम्भनाय नमः३५७) ॐ वृत्तावृत्तकराय नमः३५८) …

शिवसहस्रनाम भाग-१ (मन्त्र १ से ३५० तक)

❀ शिवसहस्रनामावलि ❀ (भाग-१ / १ से ३५० तक) १) ॐ स्थिराय नमः२) ॐ स्थाणवे नमः३) ॐ प्रभवे नमः४) ॐ भीमाय नमः५) ॐ प्रवराय नमः६) ॐ वरदाय नमः७) ॐ …

कबीर के दोहे गुरु को अंग

गुरु को कीजै दण्डवत, कोटि कोटि परनाम। कीट न जाने भृंग को, गुरु करें आप समान।।१।। ❑अर्थ➠ गुरु को दण्डवत होकर करोड़ों बार प्रणाम कीजिये; क्योंकि जिस प्रकार कीड़ा …

गजेन्द्र मोक्ष

सरोवर के भीतर महाबली ग्राह के द्वारा पकड़े जाने पर दुखी हुए उस हाथी ने आकाश में गरुड़ की पीठ पर चक्र को उठाये हुए भगवान् श्रीहरि को देखकर …

बोला तो मरा

बोला तो मरा एक राजा था। उसकी कोई सन्तान नहीं थी। एक बार नगर में किसी अच्छे सन्त का आगमन हुआ। उनके शिष्य भी इतनी उच्चतम् अवस्था को प्राप्त …